Teri Meri Doriyaann 23 April 2024: अकिर के गायब होते ही एक होंगे अंगद और साहिबा

Teri Meri Doriyaann 23 April 2024: साहिबा ये सुनकर बेचैन होने लगती है दूसरी ओर गैरी भी बेचैन होने लगता है और अंगद से बात करने लगता है और उसके मूव ऑन होने की वज़ह पूछता है मगर अंगद उसे कहता है की वो जीवन में आगे बढ़ने को लेकर ये सब कर रहा है। गैरी कहता है की वो साहिबा को जलाने के लिए ये सब कर रहा है। साहिबा परेशान होकर रोने लगती है।

गुरुद्वारे में दिलजीत, अकिर और अंगद की मुलाकात होती है जहां वो सेवा कर रहा होता। उसे देखकर मनवीर अपने आप से कहती हैं की ये बिलकुल अंगद जैसा लगता है। अकिर दिलजीत से पग न बांधने की वज़ह पूछता है और वो अंगद से बड़े होने के बाद पग बांधने के तरीके को सिखाने को कहता है।

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अकिर मनवीर से चप्पल न देने की बात कहता है और वज़ह कहता है की उन्होंने अब तक उसके सॉरी को एक्सेप्ट नहीं किया है जिसके बाद मनवीर मान जाती है। रोके की तैयारी शुरू हो जाती है अंगद और अमु का परिवार शॉपिंग करके लौटते हैं।

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मनवीर और जसलीन बात करते है और कहते हैं की अकिर से उन्हें अंगद जैसा महसूस होता है और अकिर से जुड़े सच को निकाल कर रहेंगी। हॉस्पिटल में अकिर पेंटिंग को देखकर खुश हो जाती है और दिलजीत से साहिबा अपनी बेचैनी की बात करते है और वो कहती है की वो लोग मेले में जाए। उसी हॉस्पिटल में मनवीर अकिर के जन्म से जुड़ी जानकारी पता करने जाती है जहां साहिबा उन्हें ये सब करते हुए देख लेती है वो नर्स को पैसे देकर जानकारी निकालने को कहती है जिसपर नर्स ऐसी किसी जानकारी के नहीं होने की बात कहती हैं । पीछे से साहिबा कहती है की उन्हें अकिर के बारे मे क्या पता करना है वो उनसे पूछे और उनके बेटे से वो दूर ही रहें मनवीर वहां से चली जाती है और उससे कहती है की कही वो ही तो नहीं है उसकी सीक्रेट दोस्त।

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मेले में सब मस्ती करते हैं और तभी साहिबा वहां दिलजीत को फ़ोन करती है और तभी दिलजीत और अकिर उसपर एक प्रैंक करते हैं जिसके बाद दोनो हस्ते हुए बाहर आते है और साहिबा उन्हें रोते हुए डाट देती है। मेले में सीक्रेट दोस्त भी मौजूद होता और साहिबा सबके चेहरे पर ड्राइंग बनाती है तभी बानी वहां गैरी के साथ आती है साथ मे साहिबा की बहन कीरत भी आती है उसे गले भी लगाती हैं बानी दिलजीत और बाकी बच्चों के साथ झूला झूलने चले जाते हैं। इधर कीरत और साहिबा एक दूसरे के साथ बात करते है की तभी बानी गिर जाती है और कीरत उसे लेकर होटल चली जाती है। अंगद का पूरा परिवार गुरुद्वारे रोका सेरेमनी के लिए साथ आते है और पूरे रस्मों के साथ रिवाज़ पूरा करते हैं और अंगद अपने पापा को याद करता है जिन्होंने ये बोला था की उसे साहिबा से बेहतर कोई दूसरा जीवन साथी मिल ही नहीं पाता तभी वो साहिबा को याद करने लगता है।

मेले में साहिबा अकिर को बड़े झूले पर बैठाती है और दिलजीत उसे प्रपोज करता है की तभी अकिर झूले से गायब हो जाता है।